"International Journal of Geography, Geology and Environment"
2025, Vol. 7, Issue 10, Part A
बिहार के विकसित होते नगरों में शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव तथा सूक्ष्म जलवायु परिवर्तन का भौगोलिक अध्ययन
Author(s): पार्वती कुमारी
Abstract: बिहार के नगर तीव्र गति से शहरीकरण की प्रक्रिया से गुजर रहे हैं, जिसके परिणामस्वरूप शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव और सूक्ष्म जलवायु परिवर्तन एक गंभीर चुनौती के रूप में सामने आ रहे हैं। शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव उस भौगोलिक स्थिति को दर्शाता है जिसमें नगर का केंद्र भाग आसपास के ग्रामीण अथवा उपनगरीय क्षेत्रों की अपेक्षा अधिक गर्म हो जाता है। इस प्रवृत्ति का मुख्य कारण भूमि उपयोग एवं भूमि आच्छादन में परिवर्तन, हरित क्षेत्र की कमी, भवनों और सड़कों की ऊष्मा अवशोषण क्षमता, तथा वाहनों और औद्योगिक गतिविधियों से उत्सर्जित प्रदूषक हैं। बिहार के प्रमुख नगरों, पटना, गया, मुज़फ़्फ़रपुर, भागलपुर और दरभंगा में पिछले दो दशकों में तीव्र जनसंख्या वृद्धि और निर्मित क्षेत्र के विस्तार ने सतही तापमान में उल्लेखनीय वृद्धि की है। उपलब्ध उपग्रह इमेजरी और मौसम विभाग के आँकड़े दर्शाते हैं कि 2001 से 2020 के बीच औसत सतही तापमान में 1.5 °C से 2.2 °C तक की वृद्धि दर्ज की गई है। मानसून-पूर्व काल में अधिकतम तापमान की औसत वृद्धि दर लगातार तेज़ होती जा रही है, जो शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव का प्रत्यक्ष संकेत है। यह अध्ययन बिहार के विकसित होते नगरों में शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव और सूक्ष्म जलवायु परिवर्तन का भौगोलिक विश्लेषण प्रस्तुत करता है। इसमें उपग्रह चित्रों, जमीनी मौसम केंद्रों और जनगणना आधारित सामाजिक-आर्थिक आँकड़ों का उपयोग किया गया है। अध्ययन से यह स्पष्ट हुआ है कि शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव न केवल तापमान बल्कि वर्षा के वितरण, आर्द्रता स्तर और वायु गुणवत्ता को भी प्रभावित करता है। इसका प्रत्यक्ष प्रभाव मानव स्वास्थ्य, ऊर्जा खपत और शहरी जीवन-स्तर पर परिलक्षित होता है। अध्ययन यह भी इंगित करता है कि शहरी नियोजन में हरित अवसंरचना, जल निकायों का संरक्षण और ऊर्जा-कुशल भवन निर्माण को शामिल किए बिना इस चुनौती का समाधान संभव नहीं है। बिहार जैसे उभरते हुए राज्य के लिए यह न केवल एक पर्यावरणीय समस्या है बल्कि सतत शहरी विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण नीति-निर्माण का विषय भी है।
पार्वती कुमारी. बिहार के विकसित होते नगरों में शहरी ऊष्मा द्वीप प्रभाव तथा सूक्ष्म जलवायु परिवर्तन का भौगोलिक अध्ययन. Int J Geogr Geol Environ 2025;7(10):25-29. DOI: 10.22271/27067483.2025.v7.i10a.425